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यूपीए सरकार में खामियों से भरी थी जनऔषधि योजना, मोदी सरकार ने इसे बनाया फायदे का सौदा और दी गति

आशुतोषकुमारसिंह। जनऔषधिकोजन-जनतकपहुंचानेएवंइसकेफायदेकेबारेमेंआमजनकोबतानेकेलिएप्रधानमंत्रीनरेंद्रमोदीकीपहलपरपहलीबारजनऔषधिदिवससातमार्च2019कोमनायागयाथा।लोगोंकोसस्तीदवाएंउपलब्धकरानेकेलिएभारतसरकारनेनवंबर2008मेंजनऔषधियोजनाकोशुरूकियाथा।वर्ष2013तकइसयोजनाकेअंतर्गतपूरेदेशमेंमहज157केंद्रहीखुलसकेथे।वर्ष2015मेंभारतसरकारकेस्वास्थ्यमामलोंकीसमितिनेदेशमेंतीनहजारजनऔषधिकेंद्रखोलनेकासुझावदियाथा।

योजनाकोदियागयानयानाम

सरकारने2015-16केबजटमेंइससुझावकोशामिलकियाऔरसस्तीदवाईकीदुकानखोलनेकीराहप्रशस्तहुई।इसलक्ष्यकोप्राप्तकरनेकेलिएजनऔषधियोजनाकानामबदलकरप्रधानमंत्रीभारतीयजनऔषधिपरियोजनाकरदियागया।इसपरियोजनाकीचर्चाप्रधानमंत्रीअपनेसंबोधनोंमेंकरनेलगे।लिहाजाइसेप्रधानमंत्रीकीएकमहत्वाकांक्षीपरियोजनामेंशामिलकरदियागया।इसकासकारात्मकअसरयहहुआकिसबइसयोजनाकोसफलबनानेमेंजुटगए।

दूरकीगईखामियांं

इसयोजनामेंजितनीभीखामियांथी,उसपरचर्चाशुरूहुई।समाधानकीदिशामेंकदमआगेबढ़े।समाधानइतनाआसाननहींथा।राहमेंबहुतसीसमस्याएंथीं।मसलनदवाओंकीआपूर्तिसमयपरनहींहोना,दुकानदारोंकोसमयपरइंसेंटिवनहींमिलना,दुकानदारएवंमार्केटिंगअधिकारियोंकेबीचआपसीतालमेलकाअभाव,योजनाक्रियान्वयनमेंबिचौलियोंकीघुसपैठऔरदवाओंकीगुणवत्ताकोलेकरभ्रामकप्रचार।इनसमस्याओंसेजुझरहेप्रधानमंत्रीभारतीयजनऔषधिपरियोजनाकोठीकसेस्थापितहोनेकेलिएअपनीकार्यपद्धति,डिलीवरीसिस्टमएवंअपनेप्रबंधनकोबड़ेपैमानेपरस्कैनकरनेकीजरूरतथी।

किए गएनीतिगतबदलाव

यहीकारणहैकिविगतपांचवर्षोमेंसरकारनेबड़ेपैमानेपरइसयोजनाकोधरातलपरलागूकरनेकेलिएनीतिगतबदलावकिएहैं।इसीक्रममें16अक्तूबर2018कोरसायनएवंउर्वरकराज्यमंत्रीमनसुखभाईमांडवियानेगुरुग्रामकेबिलासपुरस्थितसेंट्रलवेयरहाउसकाउद्घाटनकरनेकेबादकहाथाकियहांपरवेकर्मचारीहीकामकरें,जोइसेअभियानकेरूपमेंकरसकतेहैं,जोअपनीजिम्मेदारीकोपूरीईमानदारीसेनिर्वहनकरनाजानतेहैं।

सरकारनेयोजनामेंडालीजान

सचहीकहागयाहैकिकिसीभीविभागकामुखियाजबअपनेकामकोलेकरसहज,सतर्कएवंसकारात्मकहोताहैतोलक्ष्यप्राप्तितकपहुंचनाअपेक्षाकृतआसानहोजाताहै।यहबातप्रधानमंत्रीभारतीयजनऔषधिपरियोजनापरपूरीतरहसेसटीकबैठतीहै।जनऔषधिके13वर्षोकेइतिहासकोदेखाजाएतोजहांइसकेशुरूकेपांचवर्षकोअंधकारवर्षकेरूपमेंदेखाजाएगा,वहींबादकेसातवर्षोकोप्रकाश-वर्षकेरूपमेंदेखाजानाचाहिए।

एकनजरइनआंकड़ोंंपर

यहयोजना2014तकदेशकोमहज99चलितजनऔषधिकेंद्रदेपाईथी,जबकिफरवरी2021तककेआंकड़ोंकेहिसाबसेदेशमेंइससमय7,400सेज्यादाजनऔषधिकेंद्रहैं।देशभरकेकुलजनऔषधिकेंद्रोंपर2015-16मेंजहां9.35करोड़रुपयेकीबिक्री(एमआरपीपर)हुईथी,वहीं2017-18मेंइसकीबिक्रीकाग्राफलगभग15गुणाबढ़कर140.84करोड़रुपये(एमआरपीपर)काहोगया।

व्‍‍‍‍‍‍‍यापार कीदृष्टिसेयोजना

वर्ष2018-19काआंकड़ादेखेंतो315.70करोड़रुपयेकाव्यापारजनऔषधिकरनेमेंसफलरही।वहीं2019-20में433.61करोड़एवं2020-21(28फरवरीतक)586.50करोड़रुपयेकाव्यापारजनऔषधिकरचुकीहै।इसकादूसरापक्षयहहैकिजनऔषधिकेबढ़तेव्यापारसे2019-20मेंजहांआमलोगोंको2,500करोड़रुपयेकीबचतहुई,वहीं2020-21मेंअभीतकलगभग3,500करोड़रुपयेकीबचतहोचुकीहै।शायदयहीकारणहैकिबड़ीकंपनियोंकोजनऔषधिकीकार्यप्रणालीपरशोधकरनेकीजरूरतपड़रहीहैऔरउन्हेंयहसमझमेंआनेलगाहैकि-सस्तीदवाबनाममहंगीदवा-कीजोप्रतियोगिताशुरूहुईहैउसमेंयहजनऔषधियोजनाआनेवालेसमयमेंउनकोकहींपछाड़नदे।सचकहाजाएतोभारतशुभ-लाभकादेशरहाहै।

मूलमेंशुभ-लाभ

यहांपरव्यावसायिकरूपसेवहीलंबेसमयतकटिकसकताहैजोअपनेव्यवसायकोशुभ-लाभकेसिद्धांतोंकेअनुकूलचलाताहै।भारतकेमूलमेंशुभ-लाभहै।इसीअवधारणाकोप्रधानमंत्रीभारतीयजनऔषधिपरियोजनानेअपनायाहै,अंगीकृतकियाहै।आजमहंगीदवाओंसेनिजातपानेकापर्यायजनऔषधिबनचुकीहै।गरीबोंकेदर्दकोकमकरनेवालीयहयोजनानिश्चितरूपसेसफलताकीनईइबारतलिखेगी।

(लेखकस्वस्थभारतअभियानकेराष्ट्रीयसंयोजकहैं)